रायपुर : एक बैसाखी ने लौटाई मुस्कान
सुशासन तिहार में दिव्यांग युवक को मिली त्वरित सहायता
रायपुर, 29 मई 2025
राज्य सरकार द्वारा सुशासन को जन-जन तक पहुंचाने के उद्देश्य से शुरू किए गए सुशासन तिहार का असर अब धरातल पर साफ दिखाई दे रहा है। जरूरतमंदों की समस्याओं का त्वरित समाधान करते हुए प्रशासन संवेदनशीलता और तत्परता का नया उदाहरण प्रस्तुत कर रहा है। यह देखने को मिला जगदलपुर शहर के आड़ावाल निवासी दिव्यांग युवक सूचित पाण्डे को मिली तत्काल सहायता के रूप में।
सूचित पाण्डे, जो एक निजी फर्म में कंप्यूटर ऑपरेटर के रूप में कार्यरत हैं, बुधवार को कलेक्टर हरिस एस से मिले और उन्हें अपनी चलने-फिरने की परेशानी के बारे में अवगत कराया। उन्होंने बताया कि उन्हें बैसाखी की आवश्यकता है, ताकि वे अपने दैनिक जीवन में स्वतंत्रता से चल-फिर सकें। कलेक्टर ने तत्काल उनकी समस्या को गंभीरता से लिया और मौके पर ही अधिकारियों को निर्देश दिए। इसके 24 घंटे के भीतर गुरुवार को रेडक्रॉस सोसायटी की मदद से सूचित पाण्डे को बैसाखी प्रदान कर दी गई।
इस मदद के लिए सूचित पाण्डे ने शासन-प्रशासन के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कहा कि मुझे विश्वास नहीं था कि इतनी जल्दी मेरी मदद होगी। मैं तो सोच रहा था कि हमेशा की तरह ऑफिस-ऑफिस चक्कर लगाने पड़ेंगे, लेकिन कलेक्टर सर और अधिकारियों की त्वरित पहल से मेरी समस्या का तत्काल समाधान हो गया। यह सचमुच सुशासन तिहार की भावना को चरितार्थ करता है। सूचित पाण्डे ने बताया कि 18 वर्ष की आयु में एक दुर्घटना में उन्होंने अपना एक पैर गंवा दिया था, इसके बावजूद वे आत्मनिर्भर बनकर कार्य कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि अब बैसाखी मिलने से उन्हें कार्यस्थल तक पहुंचने में आसानी होगी और उनका आत्मविश्वास और बढ़ेगा।
छत्तीसगढ़ सरकार का सुशासन केवल नीतियों और घोषणाओं तक सीमित नहीं है, बल्कि जब प्रशासन मानवीय संवेदनाओं के साथ जनता की समस्याओं को गंभीरता से लेकर त्वरित समाधान करता है, तभी सच्चे मायनों में सुशासन की परिकल्पना साकार होती है। सुशासन तिहार के अंतर्गत ऐसे अनेक उदाहरण सामने आ रहे हैं, जो यह साबित करते हैं कि शासन-प्रशासन अब जनसेवा के अपने मूल उद्देश्य संवेदनशील और जवाबदेही को पूरा कर रहा है।